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what level of blood sugar is dangerous?
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Diabetes

what level of blood sugar/Diabetes is dangerous?

About Diabetes: शुगर की बीमारी

डायबिटीज यानी शुगर का अर्थ है| हमारे खून में शुगर ज्यादा होना|
शुगर की जरूरत हमारे शरीर को हमेशा रहती है| लेकिन आवश्यकता से अधिक शुगर बीमारी के रूप ले लेती है|

sugar level normal range?

खून में शुगर की मात्रा कितनी होनी चाहिए|
स्वास्थ्य- खाली पेट 110 से नीचे|
खाने के 2 घंटे बाद 150 से नीचे|
शुगर की संभावना भविष्य में – खाली पेट 110 से 120,   खाने के 2 घंटे बाद 150 से 180 शुगर के रोगी –  खाली पेट 120 से अधिक, खाने के 2 घंटे बाद 180 से अधिक

Effects of Blood Sugar

शुगर की बीमारी में क्या होगा|
शुगर सारे शरीर को नुकसान पहुंचती है| शरीर की सारी नसें खराब होने  लगते हैं| कमजोरी आ जाती है| आंखों की रोशनी कम हो जाने से अंधापन तक हो सकता है| गुर्दे खराब हो जाते हैं दिल कमजोर हो जाता है| और हार्ट अटैक  की संभावना बढ़ जाती है| पैरों की नसें खराब हो जाती हैं और  जख्म बन जाता है| और बढ़ता नहीं है कभी-कभी पैरों की उंगलियां या पैर काला पड़ जाता है|
सुबह आपके सारे शरीर को खराब कर देती है| इसमें से ज्यादातर खराबी हमेशा के लिए होती हैं| तब उनका कोई इलाज नहीं  बचता है| याद रहे अगर आप शुगर को ठीक तरह से कम रखेगे तो आपका दिल ,दिमाग ,गुर्दे, आंखों, पैर आदि बच सकते हैं|

Do and Not do’s In Sugar

शुगर में क्या खाएं ,क्या ना खाएं,?
नियमित व्यायाम, वजन कम रखना, सही खान-पान और शराब को बिल्कुल नहीं|
जो नहीं खाना है|– मलाई वाला दूध, अंडे का पीला भाग, मैदा, पुलाव वाले चावल, जड़, वाली सब्जियां जैसे आलू, अरबी, शकरकंदी, फल जैसे कला, आम, अंगूर, चीकू, फलों का रस, कोका कोला, शरबत, मक्खन, मठरी, मिठाई, पेस्टी आदि|
जो खाना है– दही,छाछ, मलाई वे क्रीम निकले हुए दूध, थोड़ी मात्रा में सरसों, सोयाबीन का तेल, भुना हुआ चिकन, बिना तले हुए  मीट व मछली, अंडे का सफेद भाग, साबुत अनाज व डाले, भुना चना, गेहूं के आटे के साथ चने का आटा, सभी हरी पत्तियां सब्जी,सेब, पपीता, संतरा, आदि, गेहूं के बदले में थोड़ा चावल, चीनी की जगह शुगर फ्री की गोलियां।

Effects and symptoms of diabetes: अपने पैरों को ध्यान से देखते रहें और यदि कोई भी दर्द घब्बा काला पड़ता है तो लापरवाही  ना करें और डॉक्टर से सलाह लें।अपनी आंखों का चेकअप वर्ष में एक बार आंखों के डॉक्टर द्वारा कारण| याद रखें यदि शुगर ज्यादा होती है तो व्यक्ति भी बेहोश तक हो सकता है और यदि दवाइयां खाई जाए तो शुगर बहुत कम हो जाती है| तब व्यक्ति बेहोश तक हो जाता है| समय पर इलाज न मिलने पर मृत्यु भी हो सकती है|

दवाइयां के साथ खाना भी जरूरी है ,इसलिए दवाई खाने के साथ ही ले| यदि आप खाना नहीं खा पा रहे हैं तो डॉक्टर से पूछ कर दवाइयां को बदलें|

Sugar low level:

यदि दवाइयां आपके शुगर को 60 से नीचे कर देती हैं तो आपको पसीना आना, चक्कर व कमजोरी  होना, दिल धड़काना आदि लक्षण होने लगते हैं और यदि अधिक मात्रा में शुगर कम हो जाता है तो व्यक्ति बेहोश हो जाता है| इन लक्षणों में व्यक्ति को चीनी या मीठा दे देना चाहिए और तुरंत अस्पताल ले जाए|

याद रखें,  शुगर की बीमारी की सही जानकारी विशेषज्ञ ही जानते हैं उन्हीं के इलाज में रहे झोलाछाप जो डॉक्टर इस विषय में नहीं है वह इस बीमारी के बारे में पूरी जानकारी नहीं रखते हैं। इस बीमारी में सिर्फ दवाई ही नहीं खानी है, आपके शरीर का हर अंग ठीक रखना है और अपनी उम्र बढ़ानी है तो अनुभवी वह विशेषज्ञ से ही इलाज कराये।

यदि आपका ब्लड प्रेशर में शुगर दोनों ज्यादा है तो आपको दोनों ही ठीक रखते हैं|  ब्लड प्रेशर शुगर दोनों ही मिलकर आपकी आंखें, गुर्दे ,दिल ,आदि| सभी अंगों को तेजी से खराब करते जाते हैं|

अक्षर शुगर के रोगी में  खून में चर्बी की मात्रा, कोलेस्ट्रॉल वह विटामिन डी कैल्शियम की कमी भी होती है तो इनका भी इलाज साथ-साथ करें|

याद रहे शुगर से अपने शरीर को बचाना है तो अपना खान-पान बदलना है दवाइयां लेकर शुगर को ठीक रखना है नियमित व्यायाम करना है और दवाइयां हमेशा खानी है|

द्वारा
डॉक्टर एस के चौधरी
जनरल फिजिशियन
ग्रेटर नोएडा

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